कलेजे के टुकड़े को
सड़क पर छोड़,
सफेद फटी साड़ी में,
अपनी अस्मिता समेटे
एक पत्थर तोड़ती माँ!
पेट की अग्नि शांत करने को,
चिथड़ों में लिपटे,
कूड़ा बीनते,
दो छोटे बच्चे.
कह गये ...
सरकार द्वारा चलाए अभियान की,
अनकही
'बचपन सुरक्षा',
'नारी उत्थान'
की कहानी,
अपनी इस तस्वीर की ज़ुबानी
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